DMC से बाहर आते ही जगजीत डल्लेवाल फिर आमरण अनशन पर बैठे !
चंडीगढ़.
पंजाब-हरियाणा के बॉर्डर पर चल रहे किसान आंदोलन को लेकर बड़ी खबर सामने आई है। जहां, संयुक्त किसान मोर्चा गैर राजनीतिक संगठन के नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल अस्पताल से छुट्टी मिलने के बाद ने रात 12 बजे से खनाैरी बाॅर्डर पर आमरण अनशन शुरू कर दिया। शुक्रवार रात करीब 8 बजे डीएमसी अस्पताल से छुट्टी मिली। उनको लेने के लिए सरवण सिंह पंधेर एवं उनके साथी लुधियाना पहुंच थे। वहीं, चौथे दिन भी किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल और सुखजीत सिंह हरदोझंडे का आमरण अनशन जारी रहा। शुक्रवार दोपहर 3 बजे पंजाब प्रशासन के साथ संयुक्त किसान मोर्चा (गैर-राजनीतिक) और किसान मजदूर मोर्चा के नेताओं की बैठक हुई जिसमें वरिष्ठ अधिकारियों ने कहा कि वे किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल को रिहा कर रहे हैं।
हिरासत से रिहा होने के बाद किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल सीधे खनौरी बॉर्डर पहुंचेंगे और किसानों को संबोधित किया गया। इस दौरान उन्होंने कहा कि किसान किसानों का आमरण अनशन खनौरी बॉर्डर पर जारी रहेगा। DMC से बाहर आते ही डल्लेवाल ने ऐलान किया कि उनका मरणव्रत अस्पताल में भी जारी था और आगे भी रहेगा। डीएमसी से निकलकर सभी किसान नेता खनौरी बॉर्डर के लिए रवाना हुए। किसान नेताओं ने कहा कि डल्लेवाल खनौरी पहुंचने पर आमरण अनशन पर बैठेंगे और सुखजीत सिंह हरदोझंडा का अनशन समाप्त करवाया जाएगा।
डल्लेवाल ने कहा कि जांच तो सिर्फ बहाना था। सरकार उनका आंदोलन खत्म करना चाहती थी। अस्पताल में उनका किसी तरह का कोई टेस्ट नहीं किया गया। ब्लड प्रेशर तक चेक नहीं किया गया। डल्लेवाल ने निशाना साधते हुए कहा कि एक तरफ मुख्यमंत्री कहते हैं कि वे पंजाब के हितैषी हैं, लेकिन दूसरी तरफ केंद्र के साथ मिलकर काम कर रहे हैं। डल्लेवाल ने साफ किया कि किसान अपने हक हर हाल में लेकर रहेंगे। किसान एमएसपी की मांग कर रहे हैं। एमएसपी मिलने से किसान धान की बजाए दूसरी फसलों को पैदा करेगा। इससे पंजाब का जल संकट भी दूर होगा।
डीएमसी लेने पहुचे सरवन सिंह पंधेर ने कहा कि शनिवार को खनौरी में मोर्चे की बैठक होगी। इसमें आगे की रणनीति पर चर्चा होगी। 6 दिसंबर का दिल्ली कूच भी तय है। पंधेर ने कहा कि उनका पंजाब सरकार से कोई मतभेद नहीं था। लड़ाई केंद्र से भी लेकिन पंजाब सरकार ने बेवजह टांग अड़ाई है। संसद के बाहर कांग्रेसी सांसदों के प्रदर्शन पर पंधेर ने कहा कि कांग्रेसी नेता विरोध की तख्तियां लेकर खड़े थे, लेकिन जैसे ही जेपी नड्डा सामने आए, तख्तियां पीछे कर लीं। इससे इनके दोगले चेहरे साफ नजर आ रहे हैं।